Category: नरपत आसिया “वैतालिक”
डोकरी – गज़ल
डोकरी – गज़ल नरपत आसिया “वैतालिक”बैठी घर रे बार डोकरी!किणनें रही निहार डोकरी!हेत हथाई अपणायत री,टाबर रे रसधार डोकरी!बाल़कियां री हरपल़ बेली,बण बाघण खुंखार डोकरी!धीणां, डांगर, प्हैला आंगण,राख नीरती न्यार डोकरी!हतौ डोकरो हाजर उण पल़,सजिया घण सिंगार डोकरी!करै पारकी बस पंचायत,खरी भर्योडै खार डोकरी!डरा प्हैल बहुवां धमकायी,इण बोथी तलवार डोकरी!आज …
देवी स्तुति – नरपतदान आशिया ‘वैतालिक’
हैदराबाद स्टूडियो में “देवी स्तुति” की रिकॉर्डिंग। कविता: नरपत आशिया वैतालिक रचना: रामावतार दयामा जी, गायक: पूरवा गुरु जी नवरात्रि पर स्तुति रिलीज होगी। देवी स्तुति जय जग जननी! आसुर हननी! विश्व विनोदिनी! अंबा!! जगत पालिनी देवि! दयालिनी!, ललिता! मां! भुजलंबा! !१ विपद विदारिणी! त्रिभुवन तारिणी! नेह निहारिणी! करणी! पातक …
श्रीराम वंदना- नरपत आसिया “वैतालिक”
।।छंद – मधुभार।। करुणा निकेत,हरि भगत हेत। अद्वैत-द्वैत, सुर गण समेत।१ हे वंश हंस।अवतरित अंश। नाशन नृशंश।दशकंध ध्वंश।।२ रघुनाथ राम। लोचन ललाम। कोटिश काम।मनहर प्रणाम।।३ मुखहास मंद।कारूण्य कंद। दशरथ सुनंद।दुखहरण द्वंद।।४ वर वदन चंद।केहरी स्कंध। जय जगतवंद्य।छल हरण छदं।।५ प्रभु वसन पीत।पावन पुनीत। तूं भगत मीत।किम कथूं क्रीत।।६ विद्रुम प्रवाल, …
कवि नरपतदान आसिया “वैतालिक” का परिचय
कवि परिचय कवि नरपत आवडदान आसिया “वैतालिक” (email: [email protected] ) राजस्थानी, हिंदी, उर्दू, गुजराती और ब्रज भाषा की कविता के उभरते हुए नवोदित हस्ताक्षर हैं। आप ग्राम खांण, तहसील रेवदर, जिला सिरोही (राजस्थान) से हैं। आप का जन्म राजस्थान में उनके ननिहाल ग्राम मलावा, तहसील रेवदर, जिला सिरोही में उनके …